बीजेपी से दोस्ती के एक साल बाद भी नीतीश नहीं कर सके आयोग और बोर्ड का पुनर्गठन

बिहार में आयोगों और निगमों के माध्यम से विकास की मॉनिटरिंग का काम प्रभावी तरीके से किया जाता रहा है लेकिन पिछले तीन वर्षों से मामला ठंडे बस्ते में है और राजनीतिक दांव-पेंच की उलझनों की वजह से बोर्ड ,निगम और आयोग के गठन की प्रक्रिया अधर में है.

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